पूरे क्षेत्र मेंविभाग

भारत ने 850 करोड़ ($8.5 बिलियन) अमेरिकी डॉलर के सैन्य उपकरणों की खरीद को दी मंजूरी

मा र्च 2023 में भारत ने अपनी सेना को मज़बूत करने के लिए 850 करोड़ ($8.5 बिलियन) अमेरिकी डॉलर की मिसाइलों, हेलीकॉप्टरों, तोपों और इलेक्ट्रॉनिक युद्ध प्रणालियों की ख़रीद
को मंज़ूरी दी।

भारतीय रक्षा मंत्रालय ने एक बयान में कहा, भारतीय सेना की पूँजी अधिग्रहण मंज़ूरियों के लिए शीर्ष सरकारी निकाय, रक्षा अधिग्रहण परिषद (DAC) ने उसकी सभी सेवाओं के लिए आदेशों को मंज़ूरी दी है। घरेलू रक्षा विनिर्माण को बढ़ावा देने के लिए प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) की सरकार के दबाव को ध्यान में रखते हुए, मंत्रालय ने कहा कि सभी ऑर्डर भारतीय कंपनियों को दिए जाएँगे। (चित्र में: भारत ने सितंबर 2022 में अपने पहले घरेलू स्तर पर निर्मित विमानवाहक पोत, INS विक्रांत को कमीशन किया।)

परमाणु हथियारों से लैस पीपल्स रिपब्लिक ऑफ़ चाइना (PRC) और पाकिस्तान जैसे राष्ट्रों से घिरा, और PRC के साथ विवादित हिमालय की सीमा पर तनाव के साथ भारत सोवियत-युग के अपने अधिकांश सैन्य उपकरणों का आधुनिकीकरण कर रहा है। स्वीकृत अधिग्रहणों के लगभग 80% के लिए ज़िम्मेदार भारतीय नौसेना पर फ़ोकस, नई दिल्ली द्वारा 2022 में हिंद महासागर में चीनी गतिविधि पर चिंता व्यक्त करने के बाद आया है।

स्वीकृत ख़रीदारियों में नौसेना के लिए 200 ब्रह्मोस मिसाइलें, 50 जनोपयोगी हेलीकॉप्टर और इलेक्ट्रॉनिक युद्ध प्रणालियाँ शामिल हैं। DAC ने भारत के पहले डीज़ल समुद्री इंजन के निर्माण,और सुखोई-30MKI लड़ाकू जेट के लिए लंबी दूरी के गतिरोध हथियार हेतु वायु सेना के प्रस्ताव को भी मंज़ूरी दी। भारतीय सेना को उच्च गतिशीलता वाले वाहनों और तोप ढोने वाले वाहनों के साथ-साथ 155 mm/52-कैलिबर टोड आर्टिलरी गन के 307 यूनिट ख़रीदने की मंज़ूरी मिल गई।  रॉयटर्स


फ़ोरम ने दैनिक वेब कहानियों का हिंदी में अनुवाद करना निलंबित कर दिया है। कृपया दैनिक सामग्री के लिए अन्य भाषाएँ देखें।

यहाँ टिप्पणी करें

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *

संबंधित आलेख

Back to top button